जलती सूखी जमीनठूँठ-से खड़े पेड़अंतिम संस्कार कीप्रतीक्षा करती पीली घास,लू के गर्म शरारेदरकती माटी की दरारेंइन दरारों के बीच पड़ावो बीज...,मैं निराश नहीं हूँये बीज मेरी आशा का केन्द्र है।ये,जो अपने भीतर समाये हैअसीम संभावनाएँ-वृक्ष होने कीछाया देने कीबरसात देने कीफल देने कीऔर हाँ;फिर एक नया बीज दे...
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